चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी घडूआँ में 350 विद्यार्थियों ने किया रक्तदान
SangholTimed/GurjitBilla/खरड़/घरूआँ/11नवंबर,2022। डेंगू के कारण ट्राईसिटी के अस्पतालों में आई रक्त की कमी को पूरा करने के लिए एनएसएस, विश्वास फाउंडेशन, पंचकूला व एचडीएफसी बैंक द्वारा आज संयुक्त रूप से मिलकर चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी के अकेडेमीक ब्लॉक डी 4 में रक्तदान शिविर का आयोजन किया गया। इस रक्तदान शिविर में इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी जिला शाखा मोहाली व पंजाब चंडीगढ़ ने एहम भूमिका निभाई।
विश्वास फाउंडेशन की अध्यक्ष साध्वी नीलिमा विश्वास व वाईस प्रेसीडेंट साध्वी शक्ति विश्वास ने बताया कि शिविर का उद्घाटन श्री तरसेम चंद, पीसीएस असिस्टन्ट कमिशनर जनरल ने रिबन काटकर व रक्तदाताओं को बैज लगाकर किया। इस मौके पर उनके साथ सचिव इंडियन रेडक्रॉस सोसाइटी मोहाली श्री कमलेश कुमार कौशल भी मौजूद रहे। इस रक्तदान शिविर में चंडीगढ़ यूनिवर्सिटी के प्रो वाईस चांसलर डॉक्टर देवीन्द्र सिंह व डॉक्टर कविता गुप्ता बीसीए/बीएससी ने भी रक्तदाताओं की हौंसला अफजाई की। शिविर को सफल बनाने में एनएसएस प्रोग्राम ऑफिसर प्रोफेसर जगवीन्द्र सिंह व प्रोफेसर कृष्ण कान्त शर्मा का सहयोग अति सराहनीय रहा।
ब्लड बैंक रजिन्द्रा अस्पताल पटियाला की टीम ने डॉक्टर सुखविंद्र सिंह की देखरेख में, पंचकूला चेरीटेबल ट्रस्ट की टीम ने डॉक्टर श्रुति सिंगला की देखरेख में व मेहर अस्पताल ब्लड बैंक जीरकपुर की टीम डॉक्टर सतनाम सिंह की देखरेख में कुल 350 यूनिट्स रक्त एकत्रित किया। शिविर सुबह 10 बजे शुरू हुआ ओर दोपहर बाद 3 बजे तक चला। एचडीएफसी बैंक से मेनका मेहता ने भी शिरकत की।
श्री तरसेम चंद ने कहा कि रक्तदान महादान है। किसी जरुरतमन्द व्यक्ति को रक्त देकर उसकी जान बचाई जा सकती है। आमतौर पर लोगों की मानसिकता है कि रक्तदान करने से शरीर में कमजोरी आती है। ये भ्रामक जानकारी है। रक्तदान से कोई कमजोरी नहीं आती और सप्ताहभर में दिए गए खून कि आपूर्ति हो जाती है और नया खून शरीर में संचार हो जाता है। उन्होंने युवायों से अपील की है कि वो रक्तदान का संकल्प लें और जीवन में जरूर रक्तदान करें।
इस रक्तदान शिविर में आये सभी रक्तदाताओं को प्रशंसा पत्र व गिफ्ट देकर प्रोत्साहित किया गया। इस अवसर पर विश्वास फाउंडेशन से ऋषि सरल विश्वास, ऋषि मोहित विश्वास, मंजुला गुलाटी, शशि पराशर, विकास कुँवर, विनोद मनचन्दा, आशा तेजी व अन्य गणमान्य अतिथि भी मौजूद रहे।